जयपुर. मंगलवार को मकर संक्रांति के उपलक्ष्य में जयपुर में खूब पतंगबाजी हुई। पर्यटन मंत्री विश्वेंद्र सिंह और भाजपा सांसद दीया कुमारी जलमहल पर आयोजित पतंग उत्सव में पहुंचे। जहां दोनों ने साथ पतंग उड़ाई। साथ ही, दोनों नेताओं ने चाइनीज मांझा से पतंग नहीं उड़ाने की अपील भी की। जयपुर की विश्व प्रसिद्ध पतंगबाजी को देखने के लिए बड़ी संख्या में विदेशी पर्यटक भी जलमहल पहुंचे।
पतंगबाजी के चलते 2 बार बंद हुई जयपुर मेट्रो
जयपुर में पतंगबाजी के कारण जयपुर मेट्रो का संचालन भी प्रभावित हुआ। दिन में 3 बजे तक दो बार मेट्रो का संचालन बंद करना पड़ा। पतंग की डोर फंसने और बिजली कनेक्शन कटने की वजय से मेट्रो को रोका गया।
मकर संक्रांति पर 500 करोड़ का कारोबार हुआ
शहर के व्यापारियों के मुताबिक, पिछले साल तीन दिनों का पतंग और डोर का कारोबार 130 करोड़ का था। जो इस बार 200 करोड़ रुपए तक पहुंच चुका है। साथ ही, तिल-गुड़ और मिठाई मिलाकर करीब 300 करोड़ से अधिक का कारोबार हुआ है। आतिशबाजी और विशिंग लैंप की करीब 40 करोड़ की बिक्री हुई। ऐसे में कुल करीब 500 करोड़ का कारोबार हुआ।
जयपुर में राजपरिवार ने शुरू की थी पतंगबाजी
मकर राशि में इस दिन सूर्य का संक्रमण होता है। इसलिए यह दान पुण्य का त्योहार है। इसमें भी सूत यानी धागे के दान का अपना अलग महत्व है। इसलिए जयपुर के राज परिवार ने पतंगबाजी की शुरुआत की। ताकि पतंग के साथ धागा सभी लोगों में बंटे। धीरे धीरे यह त्यौहार पतंगबाजी के शौक में तब्दील हो गया।
(फोटोज- मनोज श्रेष्ठ, भीकम शर्मा)